दोस्तों आज के इस लेख में हम जिस विषय पर बात करने जा रहे हैं वह है एलआईसी, जहां एलआईसी का चार सरकारी बीमा कंपनियों में विलय होने जा रहा है। तो आइए जानते हैं कौन सी हैं वो कंपनियां?

दोस्तों एक बड़ी खबर यहां सुनने को मिल रही है जहां एलआईसी का 4 सरकारी कंपनियों में विलय हो सकता है और जिन चार कंपनियों का इस एलआईसी में विलय होने जा रहा है वे हैं न्यू इंडिया एश्योरेंस, नेशनल इंश्योरेंस, यूनाइटेड इंडिया इंश्योरेंस कंपनी और द ओरिएंटल इंश्योरेंस। कंपनियां हैं
देश में चल रहे तरह-तरह के विलय और निजीकरण के बीच यह खबर एक बड़ी खबर है। बीमा नियामक एवं विकास प्राधिकरण और बीमा अधिनियम 1938 के तहत 4 सरकारी कंपनियों के साथ एलआईसी के विलय के लिए इसमें संशोधन का प्रस्ताव पारित किया है।
प्रस्तावित संशोधनों में कहा गया है कि केवल एक कंपनी को जीवन और गैर-जीवन बीमा पॉलिसियों को बेचने की अनुमति होनी चाहिए, जिससे बीमा नियामक के लिए वैधानिक सीमाओं को दूर करना आसान हो जाएगा। रिपोर्ट्स के मुताबिक इसमें कृषि से जुड़ी एक और कंपनी का विलय हो सकता है।
66 साल बाद निजी हाथों में एलआईसी: खबरों के मुताबिक अब तक चेयरमैन हमेशा निजी क्षेत्र का व्यक्ति होता था। हालांकि अब इसमें बदलाव होने जा रहा है, क्योंकि पहली बार एलआईसी की कमान किसी प्राइवेट चेयरमैन के हाथ में होगी. एक तरफ अच्छी खबर है कि निजी क्षेत्र के लोगों के पास अब एलआईसी का चेयरमैन बनने का मौका होगा। यह कुछ ऐसा है जो पहले कभी नहीं हुआ और यह एक बड़ा बदलाव है।
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